Thursday, June 4, 2009

रैनडमली तुम्हारा

मेरे प्रिय मित्रों,
सप्रेम नमस्ते
आज केवल हिन्दी।क्योंकि मेरा मन् कर राहा है।

पिछले हफ्ते की आई एम् एस कक्षाएं रद्द हो गयीं क्योंकी उन्होंनेअंग्रेज़ी इज्ज़त (Hons) प्रवेश परीक्षा हेतु नई कक्षाएं शुरू कर दी हैं।नोशनल लॉस हो गया। मतलब यहाँ भी कट्टा भी शब्द का प्रयोग इसलिए क्योंकि मोबिसोल्व ने चूत्याप मचा कर मुझे बेरोजगार कर दिया। वह था कट्टा नम्बर १।

अब मैं फिर वहीं गया जहाँ पे पहले था। यानी "
बेक टू स्क्वेयर वन" थैंक यू प्रभु। क्यूँ ले रहे हो मेरा।

इम्तेहान। हालांकि यही हाल जगह जगह हो रहा है(पर मैं ही क्यों?)उदाहरन - मेरा मित्र
शिवताज अमरीका में उच्च पढाई के बाद भी यहाँ लौटकर काम की तलाश में है। यानी जब भगवान् देता है तोह छप्पर फाड़ के देता है और जब लेता है तोह नंगाकर देता है
मतलब भगवन = "
बुली; विद हार्ट"

खैर अच्छे लोगों के साथ अच्छा ही होता है।

मतलब मैं तोह गया।

बैहरहाल, आजकल काफी भ्रमन हो रहा है। रविवार को वसंत विहार गया और रात में साईडवोक। सोमवार को देव, सत्यम एवं मदान से खाने पर मिला। बाद में चुस्की भी खाई और जीवन मरण इत्यादि पर चर्चा भी की। यह देव मेरी बोहत लेता है। पर दिल का साफ़ है। मंगलवार को माताजी का जन्मदिन था और कल गया गुडगाँव और रातमें क्लब। मतलब काफ़ी भ्रमन।

माताजी को मैने फूल दीये और निरंतर प्रयास किया कि उनकी खुशी का पात्र बनूँ।

फूल रात में लाया था इसलिए सस्ते भी मिल गए। पर ये बात माताजी को मत बताना।

अब मैं चला। बज गए हैं।
यानी स्तनपान टाइम
आपका अपना,
द्ध१

पी ऐस -
सृष्टि कल विदेश जा रही है। मैं अपने ब्लॉग के माध्यम से आशा करता हूँ कि वह खूब मज़ा करे।
और मेरे लिए कुछ बढ़िया लाये। :)

पी एस -
मुझे लगता है मेरे वाहियाद परिहासों से बचे कुचे पाठक भी इस ब्लॉग पे आना छोड़ देंगे।

जय जुन्जुनु